दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल ने कहा, ‘यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि इस समय में भी, देश में ऐसे संगठन प्रतीत होते हैं जो दावा करते हैं कि समलैंगिकता और ट्रांसवेस्टिज़्म ‘मनोदैहिक विकार’ हैं और कन्वर्शन थेरेपी के माध्यम से ‘ठीक’ करने की जरूरत है. यह गैरकानूनी है और LGBTQIA+ समुदाय के खिलाफ समाज में मिथकों, पूर्वाग्रहों और भेदभाव को बढ़ावा देता है.