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महाकुंभ में गंगा स्नान के लिए यात्रियों को ले जाने जोन से पहली ट्रेन मंगलवार शाम 6 बजे रवाना हुई। दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे ने इस बार कुल छह कुंभ स्पेशल ट्रेनों की व्यवस्था की है, जिनमें से पहली ट्रेन मंगलवार को बिलासपुर जंक्शन से रवाना हुई।

रेलवे ने श्रद्धालुओं के लिए प्रयागराज महाकुंभ की यात्रा को सुगम बनाने के लिए 14 कोच वाली अनरिजर्व ट्रेन एक फेरे के लिए चलाई। 14 कोच में कुल सीटों की संख्या 1008 है। लेकिन अनरिजर्व होने के कारण इस ट्रेन में बिलासपुर और उसलापुर स्टेशन से ही 1800 से अधिक यात्री सवार हो गए, जिसके कारण ट्रेन श्रद्धालुओं से पूरी तरह भरी रही।
यह ट्रेन बिलासपुर स्टेशन से शाम 6 बजे रवाना होकर 18.11 बजे उसलापुर, 19.19 बजे पेंड्रारोड, 20.08 बजे अनूपपुर, 21.43 बजे उमरिया, रात 12 बजकर 40 मिनट में कटनी पहुंची। यहां से रात 12.50 में रवाना होकर रात 1.34 को मैहर, 2.02 बजे सतना होते हुए सुबह 5.30 बजे प्रयागराज स्टेशन पर रुकेगी।

8, 15 व 22 फरवरी को भी स्पेशल ट्रेनें

  • अगली ट्रेन 8 फरवरी को दुर्ग से रवाना होगी। गाड़ी संख्या 08791/08792 दुर्ग-वाराणसी-दुर्ग कुंभ मेला स्पेशल ट्रेन दुर्ग से 8 फरवरी शनिवार को रवाना होगी। वहीं वाराणसी से 10 फरवरी सोमवार को रवाना होगी।
  • दुर्ग से 15 फरवरी को गाड़ी संख्या 08795 दुर्ग-टुंडला कुंभ मेला स्पेशल ट्रेन चलेगी। यह ट्रेन गाड़ी संख्या 08796 टुंडला-दुर्ग कुंभ मेला स्पेशल ट्रेन 17 फरवरी को टुंडला से दुर्ग के लिए चलेगी।
  • बिलासपुर से 22 फरवरी को गाड़ी संख्या 08253/ 08254 बिलासपुर-वाराणसी-बिलासपुर कुंभ मेला स्पेशल ट्रेन रवाना होगी। इसके साथ ही वाराणसी से 24 फरवरी सोमवार को रवाना होगी।

मौनी अमावस्या: स्नान के लिए उमड़ रही भीड़

ट्रेन में सफर करने वाले यात्रियों ने बताया कि 29 जनवरी को मौनी अमावस्या है। ऐसे में धार्मिक मान्यताओं के अनुसार महाकुंभ में मौनी अमावस्या के दिन संगम स्नान को अमृत स्नान माना जाता है। अमृत स्नान के समय पवित्र नदियों में स्नान करने पर मोक्ष की प्राप्ति होती है और परिवार में सुख-समृद्धि आती है।

यही कारण है कि बिलासपुर सहित पूरे छत्तीसगढ़ से इस बार मौनी अमावस्या के दिन महाकुंभ के दौरान गंगा स्नान करने की चाह में ट्रेन के साथ ही बस और निजी वाहनों से सफर कर श्रद्धालु प्रयागराज पहुंच रहे हैं।

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